Surprise Me!

बातचीत से नहीं मिलेगा, सच के लिए प्रेम होना चाहिए || आचार्य प्रशांत, अपरोक्षानुभूति पर (2018)

2019-11-30 1 Dailymotion

वीडियो जानकारी:<br /><br />२९ अप्रैल, २०१८<br />अद्वैत बोधस्थल,<br />ग्रेटर नॉएडा<br /><br />प्रसंग:<br />कुशला ब्रह्मवार्तायां वृत्तिहीनाः सुरागिणः ।<br />तेऽप्यज्ञानतया नूनं पुनरायान्ति यान्ति च ॥ १३३॥<br /><br />भावार्थ: जो ब्रह्म वार्ता में कुशल हैं, किन्तु ब्राह्मी वृत्ति से रहित और रागयुक्त हैं। निश्चय ही वे अत्यंत अज्ञानी हैं और बार-बार मरते और जन्मते रहते हैं।<br /><br />~ अपरोक्षानुभूति<br /><br />अपरोक्षानुभूति को कैसे समझें?<br />शंकराचार्य जी प्रेम के बारे में क्या समझा रहे हैं?<br />सत्य के लिए प्रेम का क्या अर्थ होता है?<br />सत्य के लिए प्रेम को कैसे जगाएँ?<br />क्या जीव सिर्फ़ सच से ही प्रेम करता है?<br /><br />संगीत: मिलिंद दाते

Buy Now on CodeCanyon